आमजन अपनी समस्याओं के समाधान के लिए नियंत्रण कक्ष का अधिकाधिक प्रयोग करें : जिला कलेक्टर
सिरोही ब्यूरो न्यूज़
रिपोर्ट हरीश दवे
सिरोही जिला कलेक्टर भगवती प्रसाद ने कहा कि किसी भी समस्या समाधान के लिए जिला एवं उपखंड स्तर पर स्थापित किए नियंत्रण कक्ष से सम्पर्क कर समस्याओं का समाधान करवा सकते है।
वे आज कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए किये जा रहे उपायों एवं व्यवस्थाओं तथा लॉक डाउन की स्थिति में जन-जन को जागृत करने के लिए मीडिया से रूबरू हो रहें थे। उन्होंने बताया कि स्थापित यह नियंत्रण कक्ष राउड दी क्लाक शुरू रहेंगे तथा इन पर रखी गई पंजिकाओं में जो भी समस्या बताई जाएगी उसका इन्द्राज किया जाएगा तथा समस्या समाधान के लिए उसका फोलोअप भी किया जाएगा।
उन्होंने बताया कि माननीय मुख्यमंत्री महोदय श्री अशोक गहलोत की मंशा के अनुरूप जिले में कोरोना संक्रमण बचाव एवं राहत की व्यापक स्तर पर व्यवस्थाएं की गई हैं। इसके लिए जिले में पर्याप्त संख्या में पुलिस, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य व अन्य विभागों से जुड़े अधिकारी व कर्मचारी संवेदनशील होकर अपनी जिम्मेदारी का निर्वहन कर रहें हैं। उन्होंने बताया कि लॉक डाउन को जन हित में गंभीरता से लागू करने और व्यवस्थाओं को चाक-चैबंद रखने के लिए मानवीय दृष्टिकोण को ध्यान में रखकर जिला प्रशासन कार्य कर रहा है।
उन्होंने बताया कि जिले की सीमाओं पर बने चेकपोस्टो पर बाहर से आने वाले व्यक्तियों के स्वास्थ्य की जांच के लिए आवश्यक प्रबन्ध हैं। अब तक लगभग 15 हजार व्यक्ति ने जिले में प्रवेश किया है जिनकी पूरी स्क्रीनींग कर हाथों पर निशानदेही भी लगाई गई है और उन्हें घरों पर ही रहने के लिए पांबद किया गया है साथ ही इससे संबंधित स्टीकर भी घरों चस्पा किए गए है। उन्होंने बताया कि इसी प्रकार से गांवों में भी निगरानी समितियां गठित की गई है। उन्होंने बताया कि डोर टू डोर सर्वे में एक लाख 68 हजार लोगों की जांच की गई है और इसके लिए 450 टीमें कार्यरत है। उन्होंने अब तक लिए गए सेम्पलों में नेगेटिव होने की बात कहीं। जिले में आने के लिए सीमाओं की जानकारी देते हुए कह कि मंडार , मावल, मोरस, छापरी, भारजा व शिवगंज है। उन्होंने की गई तैयारियां की जानकारी देते हुए मीडिया को बताया कि 2 हजार बैड तैयार है, एक हजार ओर कर लिए जाएंगे, इसके लिए जो भी आवश्यक उपकरण है, उसकी उपलब्धता भी है। पुलिस प्रशासन भी संवेदनशीलता से कर्तव्यरत है। उन्होंने सोशल डिस्टेंसिंग के प्रति जन-जन को जागृत करने के लिए किये गये प्रबन्धों की जानकारी भी दी।
जिला कलेक्टर ने मीडिया से कई बातों के बारे में सहयोग करने की अपेक्षा व्यक्त करते हुए कहा कि वे इस प्रकार से जिला प्रशासन का प्रचार-प्रसार संसाधनों से सहयोग करें जिससे कि कोरोना संक्रमण से स्वयं के बचाव के लिए व्यक्ति अधिकाधिक जागरूक हांे। लॉक डाउन की स्थिति में किराणे, फल-सब्जी आदि आवश्यक खाद्य सामग्री की वस्तुओं की पूर्ति के लिए प्रशासन पूर्ण रूप से संवेदनशील है और इस संबंध में प्राप्त होने वाली शिकायतों का निस्तारण अविलम्ब करने की कार्यवाही की जाती है। उन्होंने इस बात की भी प्रशंसा की कि अब तो ग्रामीण भी इतने जागरूक हो गये हैं कि स्वयं ही बाहर से आने वाले एवं घर में आईसोलेट व्यक्तियों से अपने आप को सुरक्षित रखने के लिए सावधान रहने लगे हैं। उन्होंने कोई व्यक्ति भूखा नहीं रहें इसके लिए किए गए प्रबंधांे की जानकारी मीडिया को दी। उन्होंने खाद्य सामग्री निर्बाध रूप से मिलेगी इसके लिए स्टोर नहीं करने की बात कहीं साथ ही भ्रामक प्रचार-प्रसार नहीं हो इस बात का भी ध्यान रखा जाए। उन्होंने बताया कि नवाचार के तहत दूकानों के बाहर चूने से गोले किए गए ताकि दूरी को रखते हुए सामग्री को आम जन ले सके,साथ ही घरो तक सामग्री पहंुचाने की सुविधा के लिए भी कार्य किया जा रहा है और गांवों व कस्बों में भी उपभोक्ता भंडारों को भी निर्देश दिए कि घरों तक सामग्री पहुचाई जाए। जिला कलेक्टर ने मीडिया के सहयोग की प्रशंसा की और सुझाव भी लिए।
पुलिस उप अधीक्षक हर्ष रत्नु ने चेकपोस्टों, आवागमन व निकासी की सीमाओं, दर्ज किए केसों , सीज किए गए वाहन एवं कानून व नियमों की जानकारी दी साथ ही उन्होंने पैदल चलने पर जोर दिया एवं वाहन का उपयोग नहीं करने की बात मीडिया के समक्ष रखी तथा मुख्य चिकित्सा एंव स्वास्थ्य अधिकारी डाॅ राजेश कुमार ने चिकित्सीय सुविधाओं एवं की गई तमाम व्यवस्थाओं की जानकारी मीडिया के समक्ष रखी।