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पेड पौधों के बिना धरती की शोभा अधूरी, जलवायु परिवर्तन ने बताया पेड पौधो का महत्व - संयम लोढा

मनादर में वृक्षारोपण जन आंदोलन के तहत संघन पौधारोपण कार्यक्रम आयोजित।

सिरोही वाले ब्यूरो ऑफिस
हरीश दवे, सिरोही

सिरोही, 31 जुलाई। धरा का श्रृंगार वृक्ष हैं। पेड़.पौधे ही धरती की असली सुंदरता है। इनके बिना धरती की शोभा नहीं है। पेड़-पौधे नहीं रहेंगे तो हमारा जीवन भी नहीं बचेगा। जलवायु परिवर्तन ने पेड़ पौधों का महत्व बताया। अभी भी वक्त है कि पर्यावरण संरक्षण के प्रति सजग हों। नहीं तो आने वाले समय में काफी परेशानियों का सामना करना पड सकता है। यह बात मुख्यमंत्री सलाहकार विधायक संयम लोढा ने मनादर ग्राम पंचायत में वृक्षारोपण जन आंदोलन के तहत आयोजित सघन पौधारोपण कार्यक्रम के दौरान उपस्थित लोगो को संबोधित करते हुए कही।

विधायक संयम लोढा ने कहां कि हरियाली की कमी से जलस्तर नीचे चला जाता है। हम सभी को एक-एक पौधा लगाने के लिए प्रेरित करें। पेड़-पौधों के बिना मनुष्य का जीवन अधूरा है। अल्ट्रावायलेट किरणों से
बचाने में पेडो से हमें एक मजबूत कवच प्रदान किया जाता है जिससे त्वचा कैंसर तथा अन्य बीमारियों से सुरक्षा मिलती है।विधायक लोढा ने कहां कि हमारी संस्कृति में पेड़ों की पूजा की जाती है इसलिए इनका संरक्षण करना हमारा दायित्व है। पीपल, तलुसी को पूजा जाता है। पीपल ही एक मात्र ऐसा पौधा है जो दिन और रात 24 घंटे बहुत अधिक मात्रा में ऑक्सीजन छोड़ता है और वातावरण को सुखद बनता है। पौधरोपण करना एक पुण्य कार्य है।

विधायक लोढा ने कहां कि जावाल से मनादर डामर सडक, जुबलीगंज से सारवाली माताजी तक ग्रेवल सडक स्वीकृति की जानकारी दी। मनादर से मेडका तक 3 किमी तक डामरीकरण निर्माण कार्य से ग्रामीणो को राहत मिलेगी।

जिला कलक्टर डॉ भंवरलाल ने कहां कि पेडो से मिलने वाली शुद्ध हवा से बीमार व्यक्ति के स्वास्थ्य में शीघ्र ही सुधार होता है। ऑक्सीजन लेने और कार्बन डाइऑक्साइड को छोडने के अलावा पेड पर्यावरण से अन्य हानिकारक गैसों को अवशोषित करते हैं जिससे वायु शुद्ध और ताज़ी बनती है। वहीं हम जितने पौधे लगाए जाएँगे, भविष्य में हम उतनी ऑक्सीजन अर्जित कर सकेंगे। पेडो की कटाई से पर्यावरण असंतुलित हो रहा है।पर्यावरण को सुरक्षित व स्वच्छ रखने के लिए पौधारोपण करना होगा।

जिला पुलिस अधीक्षक ममता गुप्ता ने कहां कि हर पौधे की अपनी-अपनी खासियत होती है। कोई फल देकर मनुष्य के लिए भोजन की व्यवस्था करता है तो कई पौधे औषधीय रूप में मनष्य के काम आते हैं। उन्होंने मनादर सरपंच सुमित्रा रावल की तारिफ करते हुए कहां कि अधिकांश जगह महिला सरपंच होती है वहां काम काजउनके पति देखते है लेकिन मनादर सरपंच खुद कार्य करती है यह एक अच्छी बात है।अधिकांश संख्या में महिलायें कार्यक्रम में आयी है यह अच्छी बात है।

मनादर सरपंच सुमित्रा रावल ने कहां कि धरती को सुंदर बनाने के लिए इसेहरा.भरा रखना होगा। इसके लिए पौधे लगाने होंगे। पौधों को हर हाल में संरक्षित रखने की जरूरत है। वृक्ष फल, लकडी, छाया, फूल आदि के रूप में अपना सब कुछ हमें समर्पित करते हैं। वृक्ष हमारे जीवन में विशिष्ट महत्व रखते हैं। वृक्षों के बिना सृष्टि की कल्पना करना व्यर्थ हैं।

इस अवसर पर सीईओ टी शुभमंगला, तहसीलदार नीरजा कुमारी, एसीओ प्रमोद दवे, विकास अधिकारी श्याम सिंह, पूर्व प्रधान अचलाराम माली, झाडोलीवीर सरपंच मोवनदेवी, कैलाशनगर सरपंच तेजाराम मीणा, आल्पा सरपंच नारायणलाल रावल, अम्बालाल, सत्यानारायण पुरोहित, रणजीत सिंह, अर्जुन सिंह, लालसिंह, मगनलाल रावल, अचलाराम झाडौलीवीर, सजाराम चौधरी, मांगीलाल मीणा, भंवरलाल घांची, अरूणा मीणा, पंकज खिडिया, राजू भाई रावल, प्रतापराम मेघवाल, मोहब्बतराम, गोविंदराम, सुनिल कुमार, छगनलाल चौधरी, दिनेश चौधरी, भूताराम चौधरी सहित बडी संख्या में ग्रामीण जन मौजूद रहे।

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